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Hanuman Chalisa: क्या आप जानते हैं कब और कैसे हुई थीं हनुमान चालीसा की रचना, यें तथ्य जानकर चौंक जाएंगे आप

हिंदू धर्म में सबसे पवित्र पाठ में से एक माना जाता है हनुमान चालीसा का पाठ, ऐसा कहा जाता है कि इसके पाठ से व्यक्ति के सभी कष्टों का होता हैं, साथ ही जीवन में आती हैं शुभता, वहीं इसकी रचना को लेकर कई कहानियां हैं प्रचलित हैं, जिसमें से एक का जिक्र आज हम करेंगे हम

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फतेहपुर सीकरी जेल में बंद थे तुलसीदास

नई दिल्ली (धर्म एवं ज्योतिष डेस्क)। हनुमान चालीसा को लेकर कई कहानियां प्रचलित हैं, जिनमें से एक में बताया है कि एक समय की बात है, जब भगवान राम के प्रति अपनी भक्ति के लिए जाने जाने वाले तुलसीदास जी को अकबर ने अपनी सभा में बुलाया था। तब तुलसीदास जी ने अकबर के सामने झुकने से इनकार कर दिया और जिससे अकबर ने क्रोधित होकर उन्हें फतेहपुर सीकरी किले की जेल में डाल दिया था। यह वही समय था, जब तुलसीदास जी ने हनुमान चालीसा लिखी थी। ऐसा माना जाता है कि वह 40 दिनों तक जेल में रहे और एक-एक दिन में उन्होंने चालीसा की एक-एक पंक्ति लिखी। साथ ही उन्होंने 40 दिनों तक भजन का जाप भी किया। हालांकि इसके चमत्कार का असर 40वें दिन देखने को मिला।

40वें दिन हुआ था अद्भुत चमत्कार

ऐसा कहा जाता है कि 40वें दिन, जब हनुमान चालीसा पूरी हुई, तब बंदरों की एक सेना ने दरबार और शहर पर हमला कर दिया और उत्पात मचाने लगे। उत्पात मचाने वाले बंदर रुक नहीं रहे थे और कोई भी मदद करता नजर नहीं आ रहा था। तब अकबर को किसी ने यह बताया कि यह तुलसीदास जी की प्रार्थनाओं के चलते हुआ है। इसके बाद अकबर तुलसीदास जी के पास गया और अपनी गलती के लिए क्षमा मांगी। इसके पश्चात सभी बंदर वहां से चले गए।

अद्भुत है हनुमान चालीसा की शक्ति

आपको बता दें, हनुमान चालीसा के हर एक छंद में अद्भुत शक्ति विराजमान हैं, जिनके जाप और पाठ से जीवन का हर संकट दूर हो जाता है। ऐसा कहा जाता है कि इसका पाठ करने वालों पर हनुमान जी की पूर्ण कृपा होती है, ठीक उसी तरह जैसे इसके रचयिता तुलसीदास जी पर हुई थी।

रिपोर्ट- धर्म एवं ज्योतिष डेस्क 

अस्वीकरण 

इस लेख में बताए गए उपाय, लाभ, सलाह और कथन केवल सामान्य सूचना के लिए हैं। खबरें आजतक Live वेब मीडिया न्यूज़ चैनल यहां इस लेख फीचर में लिखी गई बातों का समर्थन नहीं करता है। इस लेख में निहित जानकारी विभिन्न माध्यमों, ज्योतिषियों, पंचांग, प्रवचनों, मान्यताओं, धर्मग्रंथों व दंतकथाओं से संग्रहित की गई हैं। पाठकों से अनुरोध है कि लेख को अंतिम सत्य अथवा दावा न मानें एवं अपने विवेक का उपयोग करें। खबरें आजतक Live वेब मीडिया न्यूज़ चैनल अंधविश्वास के खिलाफ है।

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