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यूपी के सभी जिलों मे इस तिथि तक लॉकडाउन मे नही मिलेगी ढ़ील



लखनऊ (ब्यूरों) कोरोना वायरस के प्रकोप को देखते हुए प्रदेश में लॉकडाउन 3 मई तक यथावत लागू रहेगा। इसमें कोई बदलाव नहीं किया गया है। अपर मुख्य सचिव गृह अवनीश कुमार अवस्थी ने इसकी पुष्टि की है। उन्होंने कहा कि सभी जिलों को लॉकडाउन का सख्ती से पालन कराने के निर्देश दिए गए हैं। लॉकडाउन में छूट देकर कुछ शर्तों के साथ दुकानें खोलने के केंद्रीय गृह मंत्रालय के आदेश पर प्रदेश सरकार ने फिलहाल कोई फैसला नहीं किया है। शुक्रवार को यह आदेश जारी होने के बाद हर किसी की नजर प्रदेश सरकार के रुख पर टिकी हुई थी। माना जा रहा था प्रदेश सरकार शनिवार को शाम तक कोई फैसला ले सकती है।


सूत्रों के अनुसार शासन अभी इस पर मंथन कर रहा है। शनिवार को विचार-विमर्श के दौरान तय किया गया कि अभी मौजूदा व्यवस्था को बनाए रखा जाए। किसी भी तरह की छूट बढ़ाने पर संक्रमण के तेजी से फैलने का खतरा बढ़ सकता है। मौजूदा हालात को देखते हुए तीन मई के बाद भी लॉकडाउन जारी रखने की संभावना से इनकार नहीं किया जा रहा है। हॉट स्पॉट वाले इलाकों में सख्ती बरती जायेगी। वहीं शनिवार को उत्तर प्रदेश में 130 और नयें लोग कोरोना पॉजिटिव पाए गए हैं। इस तरह प्रदेश में कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या 1778 तक पहुंच चुकी है । 248 मरीज ठीक होकर घर जा चुके हैं । 26 मरीजों की मृत्यु हो गई है।


स्वास्थ्य विभाग के प्रमुख सचिव अमित मोहन प्रसाद ने शनिवार को अपर मुख्य सचिव गृह व सूचना अवनीश अवस्थी के साथ संयुक्त प्रेस कांफ्रेंस में यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि अब तक जो 26 मौतें हुई हैं, वे मरीज़ पहले से ही किसी न किसी बीमारी से ग्रस्त थे। इसके साथ ज़्यादातर 60 साल के ऊपर के थे। उन्होंने बताया शुक्रवार को 4115 नमूने लिए गए थे, इनमें से 3719 नमूने जांचे गए हैं । 57 कोरोना प्रभावित ज़िलों में से 10 ज़िलों में पिछले 24 घंटों में कोई भी संक्रमित नहीं पाया गया है। 18 ज़िलों में तो पहले से ही नए मरीज़ सामने नहीं आ रहे हैं। हालांकि कोरोना मुक्त हो जाने के बाद प्रयागराज में फिर से कोरोना पॉजिटिव केस आए हैं। 


प्रमुख सचिव ने बताया कि मुख्यमंत्री के निर्देश पर सरकारी और निजी अस्पतालों में मेडिकल इन्फेक्शन रोकने के लिए प्रोटोकॉल बनाने की तैयारी हो रही है। इसके तहत यह निर्णय लिया गया है कि हर ज़िले में अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी के नेतृत्व में इन्फेक्शन रोकने के लिए एक कमेटी बनाई जाएगी। इस कमेटी में विश्व स्वास्थ्य संगठन, यूनीसेफ, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के अधिकारी और आईएमए के डॉक्टर रहेंगे। यह कमेटी कल तक बन जाएगी। हर सरकारी व निजी अस्पताल को अपने अस्पताल में ही इन्फेक्शन रोकने के लिए कमेटी बनानी होगी । ज़िले में अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी की टीम सभी अस्पतालों का निरीक्षण करेगी। इसके साथ ही वह अस्पताल की इमरजेंसी को भी देखेगी। कमेटी यह सुनिश्चित करेगी कि अस्पतालों में किसी भी तरीके का इन्फेक्शन न होने पाए। 

रिपोर्ट- लखनऊ डेस्क

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